भारतेन्दु कौशिक, बिलासपुर। CG News : न्यायधानी के हृदय स्थल बृहस्पति बाजार में बड़ा बदलाव होने वाला है। प्रशासन 13 करोड़ 40 लाख रुपये की लागत से यहां एक नया मल्टी लेवल कॉम्प्लेक्स बनाने की तैयारी कर रहा है। लेकिन इस योजना को लेकर यहां व्यापार करने वाले सैकड़ों छोटे–मोटे दुकानदारों की चिंता बढ़ गई है। नोटिस जारी होने के बाद आज ग्रैंड न्यूज़ की टीम जब मौके पर पहुंची, तो व्यापारियों ने अपनी परेशानियां खुलकर सामने रखीं।
ये भी पढ़ें : Raipur Video : मुख्यमंत्री निवास के पास दुकान में लगी भीषण आग, मची अफरा-तफरी

बृहस्पति बाजार में सालों से दुकानें चलाने वाले व्यापारियों का कहना है कि प्रशासन ने अचानक दुकानें खाली करने का नोटिस भेज दिया है, जबकि अभी तक उनके लिए वैकल्पिक व्यवस्था की कोई ठोस जानकारी नहीं दी गई। व्यापारियों का कहना है कि वे निर्माण के खिलाफ नहीं हैं, लेकिन पहले विस्थापन, फिर निर्माण” का फॉर्मूला लागू होना चाहिए।लोगों का साफ कहना है कि जब तक उन्हें दूसरी जगह दुकानें नहीं दी जातीं, तब तक उन्हें उजाड़ना गलत है। वे मांग कर रहे हैं कि नया कॉम्प्लेक्स बनने के बाद उन्हें प्राथमिकता के आधार पर उसी जगह दुकान दी जाए,जहाँ वे वर्षों से व्यापार कर रहे हैंव्यापारियों ने ये भी आरोप लगाए कि नगर निगम का पुराना रिकॉर्ड भरोसेमंद नहीं है। उन्होंने उदाहरण देते हुए कहा कि इमलीपारा के व्यापारियों से भी नए दुकान देने का वादा किया गया था, लेकिन निर्माण पूरा होने के बाद उन्हें दुकानें नहीं मिलीं।
आरोप ये भी है कि निगम 20 लाख से 80 लाख तक की कीमत पर दुकानें बेच देता है, जिससे गरीब वर्ग के सब्जी व्यापारी इन्हें खरीद ही नहीं पाते। यही डर अब बृहस्पति बाजार के व्यापारियों को भी है।कहीं नया कॉम्प्लेक्स बनने के बाद उनकी जगह किसी और को तो नहीं दे दी जाएगी।
बृहस्पति बाजार की अपनी ऐतिहासिक पहचान है। पुराने व्यापारियों ने बताया कि यह बाजार साल 1975 से बृहस्पतिवार के साप्ताहिक बाजार के रूप में शुरू हुआ था। बाद में यह स्थायी दैनिक बाजार के रूप में विकसित हुआ। आज यहां लगभग 218 चबूतरे और 35 पक्की दुकानें हैं, जहां हजारों परिवारों की रोज़ी-रोटी चल रही है।व्यापारियों ने कहा कि सब्जी बाजार होने की वजह से यहां धूप, छांव, पानी और बरसात जैसी प्राकृतिक ज़रूरतों के अनुसार दुकानें व्यवस्थित हैं।
ऐसे में पूरे बाजार को तोड़कर नया बनाने के बजाय इसकी मरम्मत और सुधार पर भी विचार होना चाहिए।लोगों की एक और बड़ी शिकायत ट्रैफिक को लेकर भी है। बाजार के चारों तरफ रोज़ जाम की स्थिति रहती है। व्यापारियों का कहना है कि यहां ट्रैफिक सुधारने के लिए एक भी पुलिस जवान तैनात नहीं होता। सफाई की जिम्मेदारी भी दुकानदारों पर आ जाती है, जबकि यह बाजार शहर के सबसे साफ-सुथरे सब्जी बाजारों में गिना जाता है।
कुल मिलाकर, बृहस्पति बाजार के व्यापारियों में मल्टी लेवल कॉम्प्लेक्स को लेकर भारी आशंका और नाराज़गी है। उनकी मांग है कि नई संरचना बने, लेकिन पहले उन्हें वैकल्पिक व्यवस्था दी जाए और बाद में उसी मार्केट में जगह की गारंटी मिले अब नज़रें प्रशासन की अगली कार्रवाई पर हैं।क्या वह पुराने और गरीब व्यापारियों के हितों का सम्मान करेगा, या विकास की दौड़ में इस ऐतिहासिक बाजार की पहचान खो जाएगी?




